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स्वरूप नगर (नई दिल्ली)
रिपोर्ट : नसीम एंड विकास
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गरीब बच्चों को खिलौने और पढ़ाई का सामान देकर सहायता करना एक मानवीय कार्य माना जाता है। यदि साथ में गरीबों को स्वावलंबी बनाया जाए तो वह सबसे बेहतर होता है। यदि वे स्वालम्बी होंगे तो गरिमा के साथ अपना जीवन जिएंगे और अपने बच्चों को अच्छा खिला और पढ़ा सकेंगे।
कुछ NGO इस नजरिए से गरीबों की मदद में लगी है जो एक सराहनीय कदम है। दिल्ली के स्वरूप नगर में अनुलेखा नाम की संस्था गरीब बच्चों को खिलौने और कॉपियां बांटकर सामाजिक कार्य कर रही है। पढ़ाई के साथ-साथ बच्चों का खेलना भी जरूरी है जिससे उनका मानसिक विकास होता है और पैसों के अभाव में गरीब बच्चे गंदगी में और गन्दे ईंट व पत्थरो से भी खेलने को मजबूर होते हैं जिनसे कई बार बड़ी बीमारियां तक इन बच्चों को घेर लेती है और छोटी-छोटी बीमारियां गंदगी में खेलने से अक्सर इन्हें जकड़े रखती है। बच्चे देश का भविष्य होते हैं इसलिए अनुलेखा संस्था ने बच्चों की सहायता करना सबसे पहला कदम उठाया और स्वरूप नगर इलाके में छोटे छोटे बच्चों को खिलौने देकर उनका सहयोग किया। साथ ही पढ़ाई के लिए बच्चों को कापियां और किताबें बांटी गई यह संस्था नवंबर से स्वरूप नगर में समय-समय पर इस तरह से बच्चों की सहायता कर रही है। साथ ही गरीब लड़कियों के लिए संस्था ने ब्यूटी कोर्स भी शुरू किए हैं जिनमें गरीब लड़कियां मात्र 300 रूपये की फीस में यह कोर्स करके आजीविका शुरू कर सकती है। इससे काफी गरीब लड़कियां प्रशिक्षण लेकर स्वालंबी होकर कार्य कर रही है जो कि एक सराहनीय प्रयास है।
जरूरत है देश में इस तरह की एनजीओ की संख्या बढ़े और यदि हर गांव में इस तरह की NGO हो तो सभी परिवार स्वालंबी हो जाएंगे । इसके बाद देश में गरीबी कम होगी और सभी के पास काम होगा , साथ ही बेरोजगारी भुखमरी से भी छुटकारा मिलेगा। अब जरूरत है इस तरह के कामो में दूसरी संस्थाए भी अपने अपने एरिया में गरीबो का सहयोग करें ।